अपने ही नेताओं के बयानों से दुखी कांग्रेस प्रवक्ता जावेद अहमद ने पार्टी से दिया इस्तीफा
अपने ही नेताओं के बयानों से दुखी कांग्रेस के प्रदेश प्रवक्ता जावेद अहमद ने पद व कांग्रेस की सदस्यता से इस्तीफा दे दिया है। उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय स्तर पर भाजपा व आरएसएस की विभाजनकारी राजनीति से लड़ने की क्षमता केवल कांग्रेस में है लेकिन सलमान खुर्शीद, राशिद अल्वी व मणिशंकर अय्यर जैसे नेताओं ने हर चुनाव के समय पार्टी को अपमानित करने की रणनीति पर काम किया है।
उन्होने अपने त्यागपत्र में कहा कि यह समय संविधान, लोकतंत्र, महापुरुषों के सम्मान को बचाने का है। कांग्रेस की विचारधारा को तुष्टिकरण की विचारधारा बनाकर पेश करने में लगे ये नेता भाजपा की पिच पर कांग्रेस को खेलने के लिए विवश करते हैं। इससे कांग्रेस लगातार कमजोर होती जा रही है। पार्टी के जनाधारहीन वामपंथी विचारधारा के लोग दक्षिणपंथियों को मजबूत व कांग्रेस को कमजोर करने के लिए ऐतिहासिक तथ्यों से अलग हटकर कांग्रेसजनों को हतोत्साहित कर रहे हैं।
ऐसा लगता है कि कांग्रेस में बीजेपी के लिए काम करने वाले बड़े नेताओं की फौज है, जो चुनाव आते ही ऐसे बयान देते हैं जो बीजेपी को लाभ पहुंचाते हैं। कांग्रेस के जमीनी कार्यकर्त्ता को निराश करते हैं और विचारधारा को नुकसान पहुंचाते हैं। उन्होंने कहा कि प्रभारी राष्ट्रीय महासचिव प्रियंका गांधी की जबरदस्त रणनीति व प्रदेश अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू की मेहनत फिर बेकार होती दिख रही है। कार्यकर्ता भी लगातार उदास हैं। ये लोग कार्यकर्ताओं के अंदर विजय की इच्छाशक्ति भरने के स्थान पर हतोत्साहित करने में कोई कसर बाकी नहीं छोड़ रहे।
जावेद अहमद खान ने कहा कि राष्ट्रीय स्तर पर कांग्रेस ही भाजपा की चुनौती का सामना कर सकती है, लेकिन जनाधारहीन वामपंथी विचारधारा के लोग दक्षिणपंथियों को मजबूत व कांग्रेस को कमजोर करने के लिये ऐतिहासिक तथ्यों से अलग हटकर कांग्रेसजनों को हतोत्साहित करते हुए शीर्ष नेतृत्व की रणनीतियों व जमीनी कार्यकर्ताओं की मेहनत को कुंद करने का काम कर रहे हैं. हालात इस तरह के हैं कि जैसे कांग्रेस के लिए नहीं, हम भाजपा के लिए कार्य कर रहे हैं। इसी कारण त्यागपत्र देना ही अंतरात्मा की मांग थी।