उत्तर प्रदेशकन्नौज

प्लास्टिक मल्चिंग विधि से सब्जी उगाकर आय करें तीन गुनी, कन्नौज पहुंचे इजरायली वैज्ञानिकों ने दीं जानकारियां

कन्नौज: इजरायल से वैज्ञानिकों की टीम सोमवार को कन्नौज पहुंची. जहां उन्होंने उमर्दा स्थित सेंटर फॉर एक्सीलेंस वेजिटेबल में निरीक्षण किया. यहां पर मौजूद किसानों को फसल तैयार करने की जानकारी दी गई. साथ ही किसानों को सूर्य की रोशनी और हवा की गति, वातावरण में नमी को देखते हुए सिंचाई करने की जानकारियां मुहैया कराई गई और प्लस्टिक मल्चिंग विधि से आय तीन गुनी होने की बात कही.

बता दें कि कन्नौज के उमर्दा में स्थित सेंटर फॉर एक्सीलेंस वेजिटेबल जो कि बेहतर कृषि तकनीकी से किसानों को फसल उपज में सहायता करता है. जहां पर इजरायल के वैज्ञानिक यूरी रुबिनस्टेन, डैनियल हेडेड पहुंचे.  वैज्ञानिकों ने सेंटर में मौजूद किसानों को सिंचाई के महत्व के बारे में बताया कि पौधों की सिंचाई के समय सूर्य की रोशनी, हवा की गति, वातावरण में नमी के साथ भूमि की दशा को देखते हुए सिंचाई करनी चाहिए.

पौधों में पोषक तत्वों की कमी ना होने पाए और बुवाई के समय उचित नमी जरूर देख लें. संतुलित खादों का पौधों में प्रयोग और रोग कीट नियंत्रण के लिए दवाइयों का प्रयोग करें. उन्होंने बताया कि जलवायु परिवर्तन में सब्जी की उन्नत तकनीक के तहत प्लास्टिक मल्चिंग पॉलीटनल विधि तथा प्रोट्रे विधि से अगर किसान पौधा तैयार करेंगे तो उनकी आमदनी दोगुनी हो सकती है.

जिसमें सबसे पहले बेड 6 इंच ऊँचाई 90 सेमी चौड़ी बनाता है, फिर ड्रिप की लाइन बिछाई जाती है फिर मल्चिंग(काली और ग्रे पन्नी) बिछाकर फिर 45 सेमी पर फसल लगाई जाती है. जिससे ड्रिप (टपक सिचाई विधि) से फसल पैदावार डबल हो जाती है.

साथ ही वैज्ञानिकों ने टमाटर, मिर्च, बैगन, वोड़ा और प्याज आदि की खेती के बारे में जानकारी दी. उन्होंने बताया कि लोग अपने घर की छतों पर मिर्च, टमाटर, बैगन आदि की खेती कर सकते हैं. कन्नौज की उमर्दा स्थित सेंटर फॉर एक्सीलेंस वेजिटेबल में इजरायली वैज्ञानिकों के साथ कन्नौज के केंद्र प्रभारी बीएस यादव और कई किसान मौजूद रहे.

संबंधित समाचार

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button