उत्तर प्रदेशलखनऊ

एकेटीयू में लगा स्टार्टअप मेला

लखनऊ। डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम प्राविधिक विश्वविद्यालय में शनिवार को इनोवेशन हब की ओर से स्टार्टअप संवादः यूपी स्टार्टअप चैलेंज एंड एक्स्पो का आयोजन किया गया। कार्यक्रम में बतौर मुख्य अतिथि अपर मुख्य सचिव अवसंरचना एवं औद्योगिक विकास आईटी एवं इलेक्ट्रॉनिक विभाग अरविंद कुमार ने कहा कि पिछले कुछ समय से उत्तर प्रदेश का माहौल बदल रहा है। अब यहां तेजी से बुनियादी सुविधाएं बढ़ रही हैं। फिर चाहे वह शांति व्यवस्था हो या सड़क, बिजली, पानी इंटरनेट का तेजी से पूरे प्रदेश में जाल बिछ रहा है। जिसका परिणाम ये है कि अब प्रदेश में बहुत भारी मात्रा में निवेश हो रहे हैं। ऐसे क्षेत्र भी विकास की मुख्य धारा में आ रहे हैं जो अब तक अछूते थे।

उन्होंने कहा कि इसका फायदा कहीं न कहीं छात्रों और युवाओं को भी मिलेगा। प्रदेश में स्टार्टअप का माहौल बन रहा है। सरकार इस दिशा में कई कदम भी उठा रही है। प्रदेश के हर हिस्से में सेंटर ऑफ एक्सिलेंस शुरू करने की कवायद की जा रही है। विशिष्ट अतिथि प्रमुख सचिव तकनीकी शिक्षा सुभाष चंद्र शर्मा ने कहा कि स्टार्टअप के लिए जरूरी है धैर्य। बिना धैर्य के हम सफल नहीं हो सकते। बताया कि स्टार्टअप शुरू करने के दौरान बहुत सी चुनौतियां और नकारात्मक चीजें आएंगी लेकिन इनसे डरना नहीं है। उन्होंने कहा कि अपने आप को इतना काबिल बना लीजिए कि खुद ब खुद पहचान बन जाएगी। कहा कि कोई भी काम पूरी क्षमता और परफेक्शन से करना चाहिए।

वहीं दूसरे विशिष्ट अतिथि यूपीएलसी के एमडी कुमार विनीत ने प्रदेश में स्टार्टअप को लेकर सरकार की योजनाओं की विस्तार से जानकारी दी। कहा कि स्टार्टअप के लिए प्रदेश में एक पूरा इको सिस्टम तैयार किया जा रहा है। बताया कि जल्द ही प्रदेश के हर जिले में एक मेंटॉर रहेगा। साथ ही हर मंडल में आईटी पार्क स्थापित किया जा रहा है। जिससे कि प्रदेश में जो जहां है उसे वहीं नवाचार के लिए सारी सुविधाएं उपलब्ध कराई जा सके। साथ ही बताया कि स्टार्टअप को स्थापित करने तक की हर प्रक्रिया में सरकार मदद कर रही है।

एकेटीयू के कुलपति प्रो. प्रदीप कुमार मिश्र ने कहा कि अब समय बदल गया है। देश की इतनी बड़ी आबादी है ऐसे में सबको नौकरी मिलना संभव नहीं है। इसलिए युवाओं को नौकरी करने वाला नहीं बल्कि नौकरी देने वाला बनना चाहिए। कहा कि उत्तर प्रदेश में स्टार्टअप के प्रति युवाओं में चेतना आयी है। कहा कि यह कार्यक्रम स्टार्टअप के लिए नींव का पत्थर साबित होगा।

इंडियन बॉयोगैस एसोसिएशन के अध्यक्ष गौरव केडिया ने गौ आधारित उन्नति के बारे में बताया। धन्यवाद कुलसचिव श्री नंदलाल सिंह ने दिया। संचालन वंदना शर्मा ने दिया। इस मौके पर वित्त अधिकारी श्री जीपी सिंह, इनोवेशन एंड इन्क्युबेशन डीन प्रो. संदीप तिवारी, उप कुलसचिव डॉ. आरके सिंह, सेंटर फॉर एडवांस्ड स्टडीज के निदेशक प्रो. एमके दत्ता, डॉ. अनुज कुमार शर्मा, इनोवेशन हब के हेड महीप सिंह सहित अन्य लोग मौजूद रहे।

एग्जिबिशन ने जीता दिल

स्टार्टअप संवाद के दौरान प्रदेश के विभिन्न हिस्सों से आये स्टार्टअप के लिए एग्जिबिशन भी लगाया गया था। करीब 60 स्टॉल पर स्टार्टअप का मॉडल लगाया गया था। जिसका निरीक्षण प्रमुख सचिव तकनीकी शिक्षा सुभाष चंद्र शर्मा, विशिष्ट अतिथि यूपीएलसी के एमडी कुमार विनीत, कुलपति प्रो. प्रदीप कुमार मिश्र सहित अन्य अतिथियों ने निरीक्षण किया। अतिथियों ने स्टार्टअप प्रोडक्ट की जानकारी भी ली। एग्जिबिशन में एक से बढ़कर एक प्रोडक्ट लगे थे। किसी ने डिलेवरी ड्रोन बनाया है तो किसी ने मंदिर की राख का इस्तेमाल कर विभिन्न प्रकार के मॉडल बनाए हैं।

टॉप 8 आइडिया को मिला पुरस्कार

कार्यक्रम में प्रतिभाग करने वाले 60 स्टार्टअप ने अपने प्रोडक्ट का जूरी सदस्यों के सामने प्रस्तुतीकरण दिया। प्रस्तुति देखने के बाद जूरी ने ओवरऑल आठ स्टार्टअप का चयन किया। जिसमें से सामाजिक प्रभाव, कृषि या ग्रामीण विकास, ऊर्जा से संबंधित और नई तकनीकी में चार स्टार्टअप का चयन किया। जिन्हें 25-25 हजार रुपये का पुरस्कार दिया गया। वहीं सात ओवरऑल सात में से टॉप तीन को क्रमशः एक लाख, 75 हजार और 50 हजार का पुरस्कार दिया जाएगा।

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